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Wednesday, January 15, 2020

सन्नाटे का शोर

सन्नाटे का शोर

🙏🙏 विपुल लखनवी


यह सन्नाटा कैसे आया।

यह सन्नाटा किसको भाया।।

सन्नाटे की एक कहानी।

भाषा इसकी जिसने जानी।।

सन्नाटे के भाव बहुत है।

सन्नाटे में घाव बहुत है।।

सन्नाटे की चाहत जिसको।

दुनिया में न राहत उसको।।

जब सन्नाटा अ जाएगा।

घोर अँधेरा छा जाएगा।।

सन्नाटे मे सब मिल जाता।

समय वहीँ पर कुछ रुक जाता।।

मन सन्नाटा मत होने दो।

प्रेम बीज प्रकट होने दो।।


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